भारत में लाखों सरकारी कर्मचारी लंबे समय से अपनी सैलरी में इजाफे की उम्मीद लगाए बैठे हैं। अब उनके लिए राहत की बड़ी खबर सामने आ रही है। केंद्र सरकार द्वारा कर्मचारियों के लिए फिटमेंट फैक्टर (Fitment Factor) को बढ़ाकर 2.86 किए जाने की चर्चा जोरों पर है। अगर यह प्रस्ताव लागू हो जाता है, तो सैलरी में बड़ा उछाल देखने को मिलेगा।
इस लेख में हम विस्तार से जानेंगे कि फिटमेंट फैक्टर क्या होता है, 2.86 फिटमेंट फैक्टर से सैलरी में कितना इजाफा होगा, इससे जुड़ा 7वें वेतन आयोग का क्या कहना है और इसका सीधा फायदा किसे होगा।
फिटमेंट फैक्टर क्या होता है?
फिटमेंट फैक्टर एक गुणक (Multiplying Factor) होता है जिसका उपयोग बेसिक पे को बढ़ाकर नई सैलरी तय करने में किया जाता है। यह 7वें वेतन आयोग की सिफारिशों के तहत कर्मचारियों की सैलरी स्ट्रक्चर को अपग्रेड करने में सहायक होता है।
वर्तमान स्थिति: अभी कितना है फिटमेंट फैक्टर?
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वर्तमान में केंद्रीय कर्मचारियों के लिए लागू फिटमेंट फैक्टर 2.57 है। इससे पहले 6वें वेतन आयोग के तहत यह 1.86 था। अब 7वें वेतन आयोग के तहत 2.86 किए जाने की मांग हो रही है ताकि कर्मचारियों को बेसिक वेतन में सम्मानजनक बढ़ोतरी मिल सके।
कर्मचारी संगठन क्या कह रहे हैं?
- अखिल भारतीय राज्य सरकारी कर्मचारी महासंघ (AISGEF), साथ ही अन्य यूनियनों ने सरकार से निम्नलिखित मांगें की हैं:
फिटमेंट फैक्टर को 2.57 से बढ़ाकर 3.68 किया जाए। - न्यूनतम वेतन ₹18,000 से बढ़ाकर ₹26,000–₹27,000 किया जाए।
- पुरानी पेंशन योजना (OPS) को बहाल किया जाए।
- हालांकि सरकार 2.86 फिटमेंट फैक्टर लागू करने पर गंभीरता से विचार कर रही है, जो 2025 के बजट या किसी विशेष घोषणा के दौरान लागू किया जा सकता है।
2.86 फिटमेंट फैक्टर से कितनी बढ़ेगी सैलरी?
सैलरी इजाफे का संभावित गणना:
मौजूदा बेसिक पे | नई सैलरी (2.86 फैक्टर) | इजाफा (रुपयों में) |
---|---|---|
₹10,000 | ₹28,600 | ₹18,600 |
₹15,000 | ₹42,900 | ₹27,900 |
₹20,000 | ₹57,200 | ₹37,200 |
₹25,000 | ₹71,500 | ₹46,500 |
किसे मिलेगा सीधा लाभ?
फायदा पाने वाले कर्मचारी:
- केंद्रीय सरकारी कर्मचारी
- भारतीय रेलवे के कर्मचारी
- सेना, अर्धसैनिक बल
- केंद्र शासित प्रदेशों के कर्मचारी
- कुछ राज्य सरकारों के कर्मचारी (अगर वे 7वें वेतन आयोग को अपनाते हैं)
सरकार की मंशा और चुनौतियाँ
सरकार कर्मचारी वर्ग को खुश रखने के साथ-साथ वित्तीय घाटा भी नियंत्रित रखना चाहती है। ऐसे में फिटमेंट फैक्टर में बढ़ोतरी करना एक राजनीतिक और आर्थिक रूप से संतुलित निर्णय होगा।
2024 के आम चुनावों के बाद, यह मुद्दा और अधिक प्रासंगिक हो गया है क्योंकि कर्मचारी संगठन लगातार सरकार पर दबाव बना रहे हैं।
7वें वेतन आयोग की सिफारिशें:

- 7वें वेतन आयोग ने न्यूनतम सैलरी ₹18,000 और अधिकतम ₹2.5 लाख निर्धारित की थी।
- फिटमेंट फैक्टर 2.57 रखने की सिफारिश की गई थी, लेकिन कर्मचारी संगठनों को यह कम लगा।
- अब 2.86 या उससे ऊपर ले जाने की मांग को सरकार गंभीरता से देख रही है।
क्या आप पर पड़ेगा असर?
अगर आप केंद्रीय सरकारी कर्मचारी हैं, तो यह बदलाव आपकी जेब में सीधा असर करेगा।
उदाहरण: अगर आपकी मौजूदा बेसिक पे ₹18,000 है, तो नई सैलरी बन सकती है ₹51,480!
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अगर आप:
- लोन की EMI चुकाते हैं
- बच्चों की पढ़ाई या शादी के लिए सेविंग कर रहे हैं
- पेंशन की योजना बना रहे हैं
तो बढ़ी हुई सैलरी से आपकी योजनाओं को मजबूती मिलेगी।
जनता की उम्मीदें और सरकार का रुख
देश भर के लाखों कर्मचारियों को इस फैसले का बेसब्री से इंतजार है। वहीं, सरकार भी कर्मचारियों को राहत देकर चुनावी रणनीति को मज़बूती दे सकती है।
निष्कर्ष
अगर सरकार 2.86 का फिटमेंट फैक्टर लागू करती है, तो यह निर्णय निःसंदेह रूप से 7वें वेतन आयोग के बाद अब तक का सबसे बड़ा वेतन सुधार माना जाएगा। यह कदम न केवल लाखों केंद्रीय कर्मचारियों की आर्थिक स्थिति को मजबूत करेगा, बल्कि उनके जीवन स्तर में भी सुधार लाएगा। इससे कर्मचारियों में वित्तीय स्थिरता आएगी और वे अपने भविष्य को लेकर अधिक योजनाबद्ध तरीके से निर्णय ले सकेंगे। इसके साथ ही यह फैसला सरकार के प्रति कर्मचारियों और आम जनता के विश्वास को भी और मज़बूत करेगा, क्योंकि यह दर्शाता है कि सरकार अपने कर्मचारियों की जरूरतों और मांगों को गंभीरता से ले रही है। ऐसे समय में जब महंगाई और जीवन यापन की लागत लगातार बढ़ रही है, यह बढ़ा हुआ फिटमेंट फैक्टर कर्मचारियों के लिए एक बड़ी राहत के रूप में सामने आ सकता है।
पूछे जाने वाले सवाल
प्र1. फिटमेंट फैक्टर क्या होता है?
उ. फिटमेंट फैक्टर वह गुणांक (Multiplier) है, जिसके जरिए सरकारी कर्मचारियों की बेसिक सैलरी को बढ़ाया जाता है। यह नए वेतनमान के निर्धारण में मुख्य भूमिका निभाता है।
प्र2. 2.86 फिटमेंट फैक्टर का क्या मतलब है?
उ. इसका मतलब है कि कर्मचारी की वर्तमान बेसिक सैलरी को 2.86 से गुणा कर नई सैलरी तय की जाएगी। उदाहरण के लिए, अगर किसी कर्मचारी की बेसिक सैलरी ₹10,000 है, तो वह बढ़कर ₹28,600 हो जाएगी।
प्र3. क्या 2.86 फिटमेंट फैक्टर केवल केंद्रीय कर्मचारियों पर लागू होगा?
उ. फिलहाल यह प्रस्ताव केंद्रीय कर्मचारियों के लिए विचाराधीन है, लेकिन राज्य सरकारें भी इसे अपने कर्मचारियों पर लागू कर सकती हैं।
प्र4. इस बढ़ोतरी से कुल सैलरी पर कितना असर पड़ेगा?
उ. बेसिक सैलरी के साथ-साथ DA (महंगाई भत्ता), HRA (मकान किराया भत्ता) और अन्य भत्ते भी बढ़ जाएंगे, जिससे कुल सैलरी में करीब 40% तक इजाफा हो सकता है।
प्र5. क्या यह फैसला पहले से लागू है या आने वाले समय में लागू होगा?
उ. सरकार की ओर से अभी इस पर विचार किया जा रहा है। फिलहाल यह एक प्रस्ताव है, जिसे भविष्य में स्वीकृति मिलने की संभावना है।